पाठ 8 : डॉ. अब्दुल कलाम के जीवन के प्रेरक प्रसंग पाठ का अभ्यास
पाठ का अभ्यास
प्रश्न 1.
निम्नलिखित प्रश्नों के उत्तर लिखिए
(क) अब्दुल कलाम का पूरा नाम क्या है ?
उत्तर
अब्दुल कलाम का पूरा नाम-‘अबुल पकीर जैनुलाब्द्दीन अब्दुल कलाम है।
(ख) कलाम ने अपनी शिक्षा पूरी करने के लिए क्या संघर्ष किया?
उत्तर
कलाम अपनी शिक्षा पूरी करने के लिए ट्यूशन – पढ़ाने लगे। मद्रास (चेन्नई) से छपने वाले एक समाचार-पत्र : ‘हिन्दू’ के लिए लेख भी लिखे। इससे उन्हें कुछ पारिश्रमिक भी प्राप्त हो जाता था। इस तरह अपनी शिक्षा पूरी करने के लिए उन्होंने निरन्तर संघर्ष किया।
(ग) रामलीला में अब्दुल कलाम ने क्या देखा ? और उस दृश्य का उनके जीवन पर क्या प्रभाव पड़ा?
उत्तर
रामलीला में अब्दुल कलाम ने ‘राम-रावण’ युद्ध देखा। इस युद्ध में राम अग्निबाण से रावण की नाभि में स्थित अमृत को सुखा देते हैं और उसका अन्त कर देते हैं। इस दृश्य का उनके जीवन पर यह प्रभाव पड़ा कि उन्होंने इसी अग्निबाण की अवधारणा से ही अग्नि मिसाइल का सूत्रपात किया।
(घ) डॉ. अब्दुल कलाम बच्चों के साथ कैसा व्यवहार करते हैं?
उत्तर
डॉ. अब्दुल कलाम बच्चों के साथ बात करके आनन्द की अनुभूति करते हैं। उनके अनुसार बच्चों में ही सम्पूर्ण राष्ट्र का विकास छिपा होता है। बच्चों से वे मित्र की तरह बातें करते हैं। बच्चे भी स्वयं गौरव की अनुभूति करते हैं।
(ङ) अब्दुल कलाम को, “मिसाइल मैन” बनने की प्रेरणा कहाँ से मिली ?
उत्तर
एक बार अब्दुल कलाम ने एक लेख अंग्रेजी समाचार-पत्र ‘हिन्दू’ में पढ़ा। उस लेख का शीर्षक था, “साफ्ट फायर”। इसका हिन्दी में अर्थ हुआ मन्त्रबाण। यह एक प्राचीन भारतीय अस्त्र का नाम है जिसका प्रयोग द्वितीय विश्व युद्ध में हुआ था। इस मन्त्रबाण ने उन्हें आगे चलकर ‘अग्नि’ मिसाइल बनाने के लिए प्रेरित किया। डॉ. अब्दुल कलाम और मिसाइल एक-दूसरे के पूरक हो गये, इसीलिए उन्हें मिसाइल मैन के नाम से भी जाना जाता है।
प्रश्न 2.
डॉ. कलाम के प्रेरक विचार-बिन्दु लिखिए।
उत्तर
डॉ. कलाम के प्रेरक विचार-बिन्दु निम्नलिखित हैं
- विज्ञान वैदिक साहित्य की तरह है-सरस और संवेदनशील।
- मुझे भारतीय होने का गर्व है-यह एक महान देश है।
- हमारे युवकों को सपने देखने चाहिए। सपनों को विचारों में बदलना चाहिए। विचारों को क्रिया के जरिये वास्तविकता में बदलना चाहिए।
- वह काम करो, जिसमें तुम्हारी आस्था हो। यदि ऐसा नहीं करते हो, तो तुम अपनी किस्मत दूसरों के हवाले कर रहे हो।
- जो लोग अपने व्यवसाय में शीर्ष पर पहुँचना चाहते हैं, उनके भीतर पूर्ण वचनबद्धता का मूल गुण होना अत्यन्त आवश्यक है।
भाषा अध्ययन
प्रश्न 1.
नीचे दिए शब्दों में मूल शब्द और उपसर्ग अलग करके लिखिए
परिश्रम, परिहास, परिचर्चा, परिभ्रमण, परिधान, परिजन परिपूर्ण।
उत्तर
परिश्रम = परि + श्रम,
परिहास = परि + हास,
परिचर्चा = परि + चर्चा,
परिभ्रमण = परि + भ्रमण,
परिधान = परि + धान,
परिजन = परि + जन,
परिपूर्ण = परि + पूर्ण।
प्रश्न 2.
निम्नलिखित शब्दों में मूलशब्द और प्रत्यय अलग कीजिए
सामाजिक, वैज्ञानिक, वैमानिक, यान्त्रिक, वैदिक, पारिश्रमिक, आर्थिक।
उत्तर
सामाजिक = समाज + इक,
वैज्ञानिक = विज्ञान + इक,
वैमानिक = विमान + इक,
यान्त्रिक = यन्त्र +इक,
वैदिक = वेद + इक,
पारिश्रमिक = परिश्रम + इक,
आर्थिक = अर्थ+ इक
प्रश्न 3.
‘पल्लवित’ शब्द में ‘पल्लव’ के साथ ‘इत’ प्रत्यय का प्रयोग हुआ है। इसी तरह निम्नलिखित शब्दों के साथ ‘इत’ जोड़कर अन्य शब्द बनाइए
सम्बन्ध, कल्प, प्रतिष्ठा, सम्भावना, राजपत्र।
उत्तर
सम्बन्ध + इत = सम्बन्धित,
कल्प + इत = कल्पित,
प्रतिष्ठा + इत = प्रतिष्ठित,
सम्भावना + इत = सम्भावित,
राजपत्र- इत = राजपत्रित।
प्रश्न 4.
नीचे कुछ सामासिक पद दिए गए हैं। उन्हें छाँटकर तालिका में भरें
प्रश्न 5. निम्नलिखित वाक्यों में प्रयुक्त कारक के चिन्ह पहचानिए, उनके समक्ष लिखिए
(1) डॉ. अब्दुल कलाम को बच्चों से बहुत प्रेम है।
(2) सफलता के लिए ऊँचे सपने भी देखने चाहिए।
(3) डॉ. अब्दुल कलाम ने बचपन में बहुत संघर्ष किया।
(4) तपस्वी व्यक्ति का भाल आभा से चमकता है।
(5) डॉ. कलाम गुरु शिष्य परम्परा के समर्थक थे।
(6) हे ईश्वर ! सबको सद्बुद्धि दो।
(7) रामनाथपुरम् की हाई स्कूल की दीवार पर अंकित था।
(8) सभी को बुराई से बचना चाहिए।
उत्तर
- को, से
- के लिए
- ने, में
- का, से
- के
- हे
- की
- को, से।